Electricity Bill Tariff : देश मे लागू होने जा रहा है नया बिजली नियम; 20 फीसदी तक कम होगा बिल - जान ले नियम

नई दिल्ली: केंद्र सरकार देश में अब बिजली बिल (Electricity Bill 2024) तय करने के लिए नया नियम लागू करने जा रही है। सरकार ने मौजूदा बिजली टैरिफ के दो सिस्टम में बदलाव किया है। सरकार बिजली की दरें तय करने के लिए 'दिन के समय' (Time of Day) का नियम लागू करने वाली है। इस नियम के लागू होने के बाद उपभोक्ता  दिन के समय के दौरान बिजली खपत का प्रबंधन कर अपने बिजली बिल में 20 प्रतिशत की बचत कर सकते हैं। ToD नियम के तहत दिन के अलग-अलग समय के लिए बिजली की दरें अलग-अलग लागू होंगी 

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अगले साल अप्रैल से लागू होंगे नियम

आधिकारिक विज्ञप्ति के अनुसार, TOD टैरिफ 10 किलोवाट और उससे अधिक की अधिकतम मांग वाले कमर्शियल और इंडस्ट्रियल उपभोक्ताओं के लिए एक अप्रैल 2024 से लागू हो जाएगी। इसके बाद एक अप्रैल 2025 से कृषि उपभोक्ताओं को छोड़कर अन्य सभी उपभोक्ताओं के लिए TOD व्यवस्था को लागू कर दिया जाएगा। हालांकि, स्मार्ट मीटर वाले ग्राहकों के लिए ये व्यवस्था तभी लागू होगी, जब वो इस तरह के मीटर लगवाएंगे।

बिजली (ग्राहकों के अधिकार) नियम, 2020 में संशोधन करते हुए दिन के समय (टीओडी) टैरिफ व्यवस्था लागू की गई है। बिजली मंत्री आरके सिंह ने कहा कि इससे ग्राहकों को बिजली बिल कम करने में मदद मिलेगी। सरकार के इस कदम के पीछे दो बड़ी वजहें मानी जा रही हैं।

पहला, देश में सौर और नवीकरणीय ऊर्जा स्रोतों से उत्पादित बिजली की मांग बढ़े। और दूसरी वजह है कि पीक आवर (peak hour) में ज्यादा बिल आने की संभावना देखते हुए ग्राहक इस दौरान खपत में किफायत बरतेंगे।

अधिकांश राज्य विद्युत नियामक आयोग (एसईआरसी) ने देश में बड़े वाणिज्यिक और औद्योगिक (सी एंड आई) श्रेणी के उपभोक्ताओं के लिए पहले ही टीओडी टैरिफ लागू कर दिया है। स्मार्ट मीटर की स्थापना के साथ, टैरिफ नीति के अनुसार घरेलू उपभोक्ता स्तर पर टीओडी मीटरिंग शुरू की जाएगी।

टाइम ऑफ डे (टीओडी) टैरिफ, बिजली उद्योगों में विश्व स्तर पर एक महत्वपूर्ण डिमांड साइड मैनेजमेंट (डीएसएम) उपाय के रूप में मान्यता प्राप्त है, जिसका उपयोग उपभोक्ताओं को अपने लोड के एक हिस्से को पीक समय से ऑफ-पीक समय में स्थानांतरित करने के लिए प्रोत्साहित करने के साधन के रूप में किया जाता है। जिससे पीक अवधि के दौरान सिस्टम पर मांग को कम करके सिस्टम लोड फैक्टर में सुधार होता है। टीओडी टैरिफ (यानी टैरिफ नीति, 2016, विद्युत अधिनियम, 2003 और राष्ट्रीय विद्युत नीति, 2005) के कार्यान्वयन को सक्षम करने और बढ़ावा देने के लिए विभिन्न वैधानिक प्रावधान पहले से ही मौजूद हैं।

ऐसे बचेगा बिजली बिल-

केंद्रीय बिजली मंत्री आरके सिंह ने बताया कि ToD उपभोक्ताओं के साथ बिजली प्रणाली के लिए भी फायदे का सौदा है। इसमें पीक आवर्स, सोलर आवर्स और सामान्य घंटों के लिए अलग-अलग टैरिफ शामिल हैं।

ToD टैरिफ व्यवस्था लागू होने से बिजली का सर्वाधिक दर वाले समय यानी पीक ऑवर्स (peak hours) में उपभोक्ता कपड़े धोने (washing machine) और खाना पकाने जैसी अधिक बिजली खपत वाले कामों से परहेज कर सकेंगे। वहीं, बिजली की कम दर वाले समय में उपभोक्ता अपने इन कामों को निपटाकर बिजली बिल में 10 से 20 फीसदी तक की बचत कर सकते हैं।



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